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-: Mysterious Trees :-
आज हम बात करने वाले हैं दुनिया के पांच सबसे अजीब और रहस्यमय पेड़ों के बारे में। आप सोच रहे होंगे कि भला एक पेड़ कैसे अजीब और रहस्यमय हो सकता है। लेकिन दोस्तों, हमारी दुनिया में बहुत से ऐसे पेड़ हैं जिन्हें देखकर लगता है कि किसी दूसरी दुनिया से किसी ने इन पेड़ों को उठाकर इस धरती पर टपका दिया हो। कोई पेड़ एक जगह से दूसरी जगह चलता है। कोई पेड़ का फल बम की तरह फटता है। कोई पेड़ ऐसा है जिसमें जड़ से लेकर टहनी तक हर जगह फल ही फल होते हैं। और तो और एक पेड़ ऐसा भी है जिसे काटो तो उसमें से खून निकलता है।
जाबुतिकावा ट्री
एक ऐसा पेड़ जो शाखाओं में नहीं बल्कि अपने पूरे तने पर अंगूर जैसे फल उगाता है। जी हां, तना हो, जड़ के पास की मोटी डालियां हो। हर जगह आपको चमकदार काले बैंगनी फल चिपके हुए दिखेंगे। पहली नजर में लगेगा जैसे किसी ने पेड़ के तने पर फलों की माला बांध दी हो और वह भी ऐसे जैसे पेड़ की चमड़ी को चीर कर बाहर आ गए हो। इस रहस्यमई पेड़ का नाम है जाबुटिकाबा और यह पाया जाता है ब्राजील में जहां लोग इसे बड़े अद्भुत मान से देखते हैं।
इसकी सबसे पहली झलक ही होश उड़ा देती है। पूरा तना ढका होता है काले गोल अंगूर जैसे चमचमाते फलों से जो पेड़ को ऐसा बना देते हैं मानो किसी दूसरी दुनिया से आया कोई जादुई जीव हो। इन फलों का स्वाद होता है मीठा खट्टा और अंदर से सफेद रसीला गुदा। कुछ ऐसा जैसे अंगूर, लीची और बेर का मेल हो गया हो। लेकिन इसका रहस्य यहीं खत्म नहीं होता। यह पेड़ बेहद धीरे बढ़ता है। इतना कि एक बड़ा पेड़ बनने में इसे कई दशक लग जाते हैं।
इसीलिए इसे टाइम ट्रैवलिंग ट्री भी कहा जाता है। और इसकी एक और अजीब बात इसके फल पेड़ से तोड़ने के सिर्फ कुछ घंटों बाद ही खराब होने लगते हैं। इसलिए ब्राजील में लोग या तो इसे तुरंत खा लेते हैं या फिर इससे वाइन, जूस और जैम बना लेते हैं। पारंपरिक दवाओं में इसका इस्तेमाल दमा, डायरिया और गले की बीमारियों के इलाज में किया जाता है।
लेकिन सबसे जबरदस्त बात यह है कि जब कोई इसे पहली बार देखता है तो उसे यकीन ही नहीं होता कि ऐसा पेड़ वाकई असली है। कोई कहता है यह सीजीआई है। कोई बोलता है फोटोशॉप। लेकिन जब वह इसके फलों को छूता है और उनकी खुशबू महसूस करता है तब समझ आता है कि यह सिर्फ पेड़ नहीं। प्रकृति का चलती फिरती चमत्कार है। एक ऐसा जिंदा रहस्य जो जितना दिखने में सुंदर है, उतना ही अंदर से रहस्यमई और अनोखा भी।
कैनन बॉल ट्री
यह कोई आम पेड़ नहीं। यह है धरती पर खड़ा एक विस्फोटक रहस्य। क्योंकि जब इस पेड़ का फल जमीन पर गिरता है तो आवाज ऐसी आती है जैसे कोई बम फट गया हो। जोरदार धमाका जो करीब 100 मीटर दूर तक सुनाई देता है। इसीलिए इसे कहा जाता है कैननबॉल ट्री यानी तोप के गोले जैसा पेड़। इसका वैज्ञानिक नाम है कुरुपिटा गुनेंसेसिस और यह मूलतः दक्षिण अमेरिका का है। लेकिन अब भारत, श्रीलंका और दूसरे उष्णकटिबंधीय देशों में भी देखा जा सकता है।
इस पेड़ के फल होते हैं गोल, भारी और बेहद सख्त। इनका वजन 3 से 6 किलो तक होता है। जब यह फल पेड़ से गिरते हैं तो केवल टकराते नहीं बल्कि धमाके के साथ फटते हैं। और सबसे चौंकाने वाली बात इस फल के अंदर से जो लुगदी निकलती है वो होती है सड़न जैसी बदबू से भरी हुई। इतनी तीव्र गंध कि वहां खड़ा रहना मुश्किल हो जाए। लेकिन हैरानी की बात तो यह है कि जहां इस फल से बदबू उठती है, उसी पेड़ के फूलों से महक उठती है।
जी हां, उसी पेड़ पर उगते हैं दुनिया के सबसे खूबसूरत और सुगंधित फूल। यह फूल सीधे पेड़ के तनों और मोटी शाखाओं से उगते हैं। टहनियों से नहीं। रंग होते हैं लाल, गुलाबी और पीले और इनकी खुशबू इतनी तेज होती है कि वह दूर-दूर तक महसूस की जा सकती है। रात के समय तो यह महक और भी रहस्यमई बन जाती है। यह फूल ना सिर्फ सुंदर होते हैं बल्कि इन्हें धार्मिक महत्व भी प्राप्त है। भारत में इन फूलों को भगवान शिव को अर्पित किया जाता है क्योंकि इनकी बनावट को नंदी के मुख जैसी माना जाता है।
कैनन बॉल ट्री की यह विशेषता इसे बनाती है दुनिया के सबसे अजीब और रहस्यमई पेड़ों में से एक। एक तरफ इसका फल गिरते ही धमाके से फटता है और सड़न जैसी बदबू छोड़ता है तो दूसरी तरफ उसी पेड़ के फूल हवा में दिव्य महक बिखेरते हैं। एक ही पेड़ में बदबू और सुगंध का यह अनोखा संगम बहुत कम देखने को मिलता है। कैनन बॉल ट्री एक ऐसा पेड़ है जो दिखने में खूबसूरत है। लेकिन इसके नीचे गिरने वाला फल आपको चौंका भी सकता है, डरा भी सकता है और सड़ा भी सकता है। यह पेड़ है सौंदर्य, विस्फोट, रहस्य और आस्था का अद्भुत मेल।
वॉकिंग पाम
आपने आज तक बहुत से पेड़ देखे होंगे। कुछ ऊंचे, कुछ फैले हुए, कुछ फलदार और कुछ फूलों से भरे। लेकिन क्या कभी ऐसा पेड़ देखा या सुना है जो चलता हो? जी हां, दुनिया में एक ऐसा पेड़ भी है जो सच में अपनी जगह से धीरे-धीरे चल सकता है। इसका नाम है वॉकिंग पाम ट्री और इसका वैज्ञानिक नाम है सोक्रेटिया एक्सोरिजा। यह पेड़ पाया जाता है दक्षिण अमेरिका के घने वर्षावनों में। जैसे कि अमेजन रेनफॉरेस्ट, इक्वाडोर, कोलंबिया, पेरू और ब्राजील में। अब सवाल उठता है, आखिर कोई पेड़ चल कैसे सकता है?
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वॉकिंग पाम की सबसे रहस्यमई खासियत होती है इसकी लंबी फैली हुई और झुकी हुई जड़े जो बाहर जमीन के ऊपर दिखाई देती हैं। जब इस पेड़ को महसूस होता है कि जहां वह खड़ा है वहां धूप या पोषण की कमी है या मिट्टी कमजोर हो गई है तो यह धीरे-धीरे नई जड़े उस दिशा में उगाना शुरू कर देता है जहां ज्यादा पोषण मिलता है। फिर पुरानी जड़े सूख जाती हैं और इस तरह यह पेड़ हर साल कुछ सेंटीमीटर अपनी जगह से खिसक जाता है।
वैज्ञानिकों का कहना है कि यह पेड़ एक साल में करीब 2 से 3 सेंटीमीटर तक चल सकता है और कुछ रिपोर्ट्स में दावा किया गया है कि यह पेड़ 5 से 20 मीटर तक जीवन काल में चल चुका होता है। इसकी यह चलने वाली क्षमता इसे बनाती है। पूरी दुनिया के पेड़ों में एकदम अनोखा और रहस्यमई। इस पर समय-समय पर रिसर्च होती रही है। कुछ वैज्ञानिक इसे मिथक मानते हैं तो कुछ इसे वास्तविक अनुकूलन का अद्भुत उदाहरण कहते हैं। इस पेड़ की ऊंचाई होती है लगभग 25 मीटर और यह दिखने में बहुत ही शानदार और राजसी लगता है।
इसकी लंबी और जटिल जड़े इसे ऐसा लुक देती हैं मानो कोई एलियन संरचना जमीन पर खड़ी हो। कई स्थानीय आदिवासी इसे जादुई पेड़ मानते हैं। उनके अनुसार यह पेड़ जंगल में अपनी पसंद की जगह ढूंढता है और वहीं जाकर टिकता है। यही वजह है कि जंगलों में इसे चलता फिरता जीवन भी कहा जाता है। वॉकिंग पाम ट्री वो पेड़ है जो हमारे सोचने के तरीके को बदल देता है। जो हमें दिखाता है कि प्रकृति सिर्फ खड़ी नहीं रहती। वो कभी-कभी चल पड़ती है अपने नियमों पर, अपने अंदाज में।
विसलिंग थॉर्न ट्री
दुनिया में कई पेड़ होते हैं जो सुंदर दिखते हैं, कई फल देते हैं और कई फूलों से मन मोह लेते हैं। लेकिन क्या आपने कभी ऐसा पेड़ देखा है जो हवा में खुद सीटी बजाता है? जी हां, यह कोई मजाक नहीं। अफ्रीका की जमीन पर खड़ा एक ऐसा पेड़ है जो सच में हवा चलने पर सीटी की आवाज निकालता है। और इसीलिए इसे कहा जाता है विसलिंग थॉर्न ट्री। इस पेड़ का वैज्ञानिक नाम है वाचेलिया ड्रपनोलोबियम और यह मुख्य रूप से पाया जाता है पूर्वी अफ्रीका के सवाना इलाकों में खासकर केन्या और तंजानिया में। इस पेड़ की सबसे अजीब बात होती है इसके कांटे लेकिन यह आम कांटे नहीं होते।
इन कांटों के साथ उगते हैं छोटे-छोटे गोल और खोखले छिलकों जैसे संरचना जिनमें रहते हैं चींटियां। अब जब तेज हवा चलती है तो यह खोखले छिलके यानी थॉर्न के अंदर से हवा गुजरती है और एक खास सीटी जैसी आवाज निकलती है। यही वजह है कि जब सवाना में हवा बहती है तो लगता है जैसे कोई पेड़ मौन जंगल में संगीत बजा रहा हो। इन थॉर्न में विशेष प्रकार की आक्रामक चींटियां रहती हैं जो इस पेड़ की सुरक्षा गार्ड की तरह काम करती हैं।
अगर कोई जानवर जैसे कि झेबरा, हाथी या जिराफ इस पेड़ को खाने की कोशिश करता है तो यह चींटियां तुरंत निकल कर हमला बोल देती हैं। बदले में पेड़ इन चींटियों को मीठा रस नेक्टर देता है। जिसे यह थर्न्स के पास मौजूद छोटे-छोटे नेक्टर ग्लैंड्स से प्राप्त करती हैं। यानी इस पेड़ ने प्रकृति के साथ मिलकर बना ली है एक समझदारी भरी दोस्ती।
चींटियां इसकी रक्षा करती हैं और पेड़ उन्हें घर और खाना देता है। इसके फूल सफेद या पीले रंग के होते हैं जो सवाना की जमीन पर दूर से बेहद प्यारे लगते हैं। लेकिन इसकी असली पहचान है उसका संगीत जो ना किसी साझ से निकलता है ना किसी गायक से बल्कि हवा से पैदा होता है।
ड्रैगन ब्लड ट्री
क्या आपने कभी ऐसा पेड़ देखा है जिसे काटने पर खून बहता हो? जी हां, यह सच है। हम बात कर रहे हैं ड्रैगन ब्लड ट्री की और इस पेड़ का खून जैसा लाल रेजिन निकलता है जो किसी ड्रैगन के खून जैसा दिखता है। इस पेड़ का नाम ड्रैगन ब्लड इसलिए पड़ा क्योंकि जब इसकी छाल को काटा जाता है तो इसमें से गहरे लाल रंग का रेजिन बहता है जो बिल्कुल खून जैसा नजर आता है। अब आपको बता दें कि यह पेड़ सोमाली द्वीप समूह सोकोटरा द्वीप समूह में पाया जाता है जो यमन के पास स्थित है।
यह जगह इतनी रहस्यमई है कि यहां पर दुनिया के कुछ सबसे अजीब और रहस्यमई पेड़ पाए जाते हैं। इस पेड़ की शाखाएं ऐसी मशरूम जैसी आकार में फैलती हैं कि यह पेड़ किसी जीवित ड्रैगन जैसा लगता है। कल्पना कीजिए जैसे कोई जादुई प्राणी अपनी शक्ति दिखाने के लिए खड़ा हो। इस पेड़ से निकलने वाला रेजन न सिर्फ अद्भुत होता है बल्कि यह प्राचीन काल से औषधीय गुणों के लिए इस्तेमाल होता आ रहा है।
चोटों, संक्रमणों और जलन के इलाज में यह रेजन कारगर साबित होता है। और तो और इस रेजन का धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व भी है क्योंकि इसे मूर्तियां सजाने, धार्मिक अनुष्ठानों और युद्धों में रंगने के लिए प्रयोग किया जाता था। लेकिन यहां ध्यान देने वाली बात यह है कि ड्रैगन ब्लड ट्री ना केवल अपनी लाल रीजन के लिए प्रसिद्ध है बल्कि इसकी अद्भुत संरचना और रहस्यमई उपस्थिति इसे प्राकृतिक अजूबा बना देती है।
इस पेड़ के बारे में कहा जाता है कि यह पेड़ एक जादुई शक्ति का प्रतीक है और इसका नाम ड्रैगन ब्लड न केवल इसकी रिजन के रंग से बल्कि इसके अद्वितीय और रहस्यमई प्रभाव से भी जुड़ा है। तो अगली बार जब आप इसे देखेंगे तो समझिए कि आप एक जीवित चमत्कार के सामने खड़े हैं। इस पेड़ का रहस्य, उसकी शक्ति और उसकी लाल रेजिन आपको हमेशा याद रहेगी क्योंकि यह पेड़ केवल एक साधारण पेड़ नहीं बल्कि एक प्राकृतिक रहस्य और जीवित अजूबा है।
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